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अमेरिका में राष्ट्रपति चुनाव के दो महीने बाद शपथ ग्रहण, अखिर ऐसा क्यों?

नई दिल्ली: अमेरिका राष्ट्रपति चुनाव पर पूरी दुनिया की नजरें हैं. 5 नवंबर को राष्ट्रपति चुनने के लिए वोट डाले जाएंगे. इसमें जिसकी जीत होगी वो 20 जनवरी 2025 को पदभार संभालेगा.

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  • Last Updated: November 3, 2024 22:51:36 IST

नई दिल्ली: अमेरिका राष्ट्रपति चुनाव पर पूरी दुनिया की नजरें हैं. 5 नवंबर को राष्ट्रपति चुनने के लिए वोट डाले जाएंगे. इसमें जिसकी जीत होगी वो 20 जनवरी 2025 को पदभार संभालेगा. विजेता के लिए व्हाइट हाउस में चार साल का कार्यकाल होगा. सवाल यह खड़ा होता है कि जब चुनाव नवंबर में हो जाते हैं तो जनवरी में अमेरिकी राष्ट्रपति कार्यभार क्यों संभालते हैं? आइए जानते है.

अमेरिका में दो दलीय प्रणाली

आपको बता दें कि अमेरिका में दो दलीय प्रणाली है. रिपब्लिकन पार्टी और डेमोक्रेट्स पार्टी हैं. बाकी सभी निर्दलीय हैं. हालांकि मुख्य मुकाबला रिपब्लिकन पार्टी के उम्मीदवार और डेमोक्रेटिक पार्टी की उम्मीदवार के बीच है. बाइडन की पार्टी से कमला हैरिस हैं. बता दें कि बाइडन ने खुद को चुनाव से अलग कर लिया था, जिसके बाद कमला हैरिस को उम्मीदवार बनाया गया है.

नवंबर में होता है मतदान

दूसरे देशों की तरह ही अमेरिका का चुनाव सिस्टम है, यहां अमेरिका में चार सालों के लिए राष्ट्रपति चुनाव होता है, यहां नवंबर में राष्ट्रपति के लिए मतदान होता है और नए राष्ट्रपति का शपथ ग्रहण जनवरी में करते हैं. हालांकि अमेरिका चुनाव प्रक्रिया में दूसरे देशों की तुलना में एक फर्क है. वह यह है कि अमेरिका में राष्ट्रपति चुनाव होने के बावजूद 11 हफ्तों तक शपथ ग्रहण का इंतजार करना होता है, जबकि दूसरे देशों में जल्द से जल्द शपथ ग्रहण हो जाता है.

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