नई दिल्ली. NEET Exam 2019: मेडिकल कोर्सेज में दाखिले के लिए आयोजित होने वाले नेशनल एलिजिबिलिटी कम एंट्रेंस टेस्ट (NEET)अब विदेश में एमबीबीएस की पढ़ाई के लिए भी अनिवार्य होगा. मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया (एमसीआई) ने इसका गजट नोटिफिकेशन जारी किया है. स्वास्थ्य मंत्रालय ने पिछले साल एमसीआई के उस प्रस्ताव को मंजूरी दी थी, जिसमें स्क्रीनिंग टेस्ट रेग्युलेशंस 2002 में संशोधन के लिए कहा गया था.
इसके मुताबिक विदेश में मेडिकल कोर्स पढ़ने के लिए नीट पास करना अनिवार्य होगा. आधिकारिक गजट के प्रकाशित होने की तारीख यानी 15 मार्च से यह प्रावधान लागू हो गया है. नोटिफिकेशन में कहा गया, ”नतीजे घोषित होने की तारीख से 3 वर्ष तक नीट रिजल्ट मान्य रहेंगे, ताकि कोई उम्मीदवार एमबीबीएम या उसके समकक्ष मेडिकल कोर्स जैसे प्री-मेडिकल/लैंग्वेज कोर्स कर पाए. इसमें विदेशी मेडिकल इंस्टिट्यूट के अंडरग्रेजुएट मेडिकल कोर्स में एडमिशन लेना भी शामिल है.”
इससे पहले भारतीय छात्रों को विदेशी कॉलेजों में मेडिकल की पढ़ाई करने के लिए फॉरेन मेडिकल ग्रेजुएट एग्जाम (एफएमजीई) जैसे स्क्रीनिंग टेस्ट से गुजरना पड़ता था, ताकि वे जब वहां से वापस लौटें तो उनके भारत में प्रैक्टिस करने का रजिस्ट्रेशन हो सके.
लेकिन अब जो भी स्टूडेंट सरकारी या प्राइवेट कॉलेज में मेडिकल की पढ़ाई करना चाहता है तो उसे नीट पास करना होगा, जिसे 2016 में लागू किया गया था. अगर किसी छात्र को किसी विदेशी कॉलेज में एडमिशन लेना है तो उसे एमसीआई से जरूरी सर्टिफिकेट लेना होगा. हर साल करीब 7 हजार स्टूडेंट्स मेडिकल की पढ़ाई के लिए विदेश जाते हैं. चीन और रूस जाने वाले छात्रों की तादाद सबसे ज्यादा होती है.
गौरतलब है कि इस साल नीट एग्जाम 5 मई को आयोजित होगा. एग्जाम में अब 2 महीने से भी कम वक्त बचा है. ऐसे में स्टूडेंट्स पर कम वक्त में ज्यादा से ज्यादा विषय कवर करने का दबाव होगा. आइए आपको इसके लिए कुछ टिप्स बताते हैं.