नई दिल्ली. जम्मू-कश्मीर राज्य के विभाजन के बाद केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार अब दो केंद्र शासित प्रदेशों का विलय करने जा रही है. मोदी सरकार ने मंगलवार को लोकसभा में दमन एवं दीव और दादरा एवं नागर हवेली केंद्र शासित प्रदेशों को मर्ज करने का बिल पेश किया है. केंद्रीय गृह राज्य मंत्री जी किशन रेड्डी ने केंद्र शासित प्रदेशों का विलय बिल 2019 संसद के निम्न सदन में पेश किया.
ये दोनों केंद्र शासित प्रदेश गुजरात के निकट समुद्री तट पर बसे हैं. अधिकारियों का कहना है कि इन दोनों केंद्र शासित प्रदेशों के बीच महज 35 किलोमीटर की दूरी है. इतनी कम दूरी के बावजूद दोनों प्रदेशों का बजट अलग अलग होता है. साथ ही ये दोनों केंद्र शासित प्रदेश काफी छोटे हैं. दमन और दीव में जहां दो जिले हैं वहीं दादरा और नागर हवेली में सिर्फ एक ही जिला है.
यदि केंद्र शासित प्रदेशों के विलय का बिल लोकसभा में पास हो जाता है तो दादरा नागर हवेली और दमन-दीव एक ही केंद्र शासित प्रदेश बन जाएगा. इसके बाद जो नया केंद्र शासित प्रदेश बनेगा उसका हेडक्वार्टर दमन या दीव में होगा.
गौरतलब है कि इसी साल़ अगस्त महीने में केंद्र सरकार ने जम्मू-कश्मीर का विभाजन करने और स्पेशल राज्य का दर्जा हटाने का बिल संसद के दोनों सदनों से पास कराया था. इसके बाद जम्मू-कश्मीर और लद्दाख दो अलग-अलग केंद्र शासित प्रदेश अस्तित्व में आए.
वर्तमान में देश में 28 राज्य और 9 केंद्र शासित प्रदेश हैं. यदि केंद्र शासित प्रदेशों का विलय बिल 2019 संसद में पास हो जाता है तो केंद्र शासित प्रदेशों की संख्या घटकर 8 हो जाएंगी.
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