Inkhabar
  • होम
  • चुनाव
  • BJP-शिवसेना में टकराव बढ़ा! शिंदे के फैसले को फडणवीस ने पलटा, महाराष्ट्र में फिर होगी टूट-फूट

BJP-शिवसेना में टकराव बढ़ा! शिंदे के फैसले को फडणवीस ने पलटा, महाराष्ट्र में फिर होगी टूट-फूट

फडणवीस और शिंदे के बीच बढ़ते टकराव के बीच अब महाराष्ट्र में इस चर्चा ने फिर से जोर पकड़ लिया है कि क्या राज्य में फिर से कोई तोड़-फोड़ होने वाली है? विपक्षी दलों ने दावा किया है कि भाजपा को शिंदे गुट वाली शिवसेना की....

Devendra Fadnavis-Eknath Shinde
inkhbar News
  • Last Updated: March 1, 2025 14:44:56 IST

नई दिल्ली। महाराष्ट्र में मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस और उप-मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के बीच टकराव बढ़ता जा रहा है। इस बीच सीएम फडणवीस ने शिंदे के मुख्यमंत्री रहते हुए लिए गए एक फैसले को पलट दिया है। बता दें कि एकनाथ शिंदे सरकार के दौरान स्वास्थ्य मंत्री रहे तानाजी सावंत ने एक कंपनी को 3,200 करोड़ रुपये का मैकेनिकल सफाई का ठेका दिया था। सीएम फडणवीस ने इस ठेके को स्थगित कर दिया है। तानाजी सावंत पर आरोप है कि उन्होंने बिना किसी कार्य अनुभव के कंपनी को इतना बड़ा ठेका दे दिया था।

शिंदे ने भी लिया हैरान करने वाला फैसला

इससे पहले डिप्टी सीएम शिंदे ने एक बड़ा फैसला ले लिया था, जिसकी चर्चा महाराष्ट्र से लेकर दिल्ली तक हुई। दरअसल शिंदे ने मुख्यमंत्री रिलीफ फंड के जैसा एक मेडिकल सेल बना दिया। शिंदे के इस कदम पर विपक्ष ने सवाल खड़े कर दिए। शिवसेना (UBT) के राज्यसभा सांसद संजय राउत ने कहा कि महाराष्ट्र में समानांतर सरकार चल रही है। उन्होंने कहा कि अगर ऐसे ही चलता रहा तो फिर महाराष्ट्र में राजनीतिक अस्थिरता काफी ज्यादा बढ़ जाएगी।

फडणवीस से मतभेद पर क्या बोले शिंदे?

इस विवाद पर उप-मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने बड़ा बयान दिया। शिंदे ने मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के साथ किसी प्रकार का कोई मतभेद होने से इनकार कर दिया है। उन्होंने कहा कि महायुति गठबंधन (‌बीजेपी-एनसीपी-शिवसेना) में सब कुछ अच्छा चल रहा है। उनके और देवेंद्र फडणवीस के बीच किसी प्रकार की कोई भी कोल्ड वॉर नहीं चल रही है।

गौरतलब है कि फडणवीस और शिंदे के बीच बढ़ते टकराव के बीच अब महाराष्ट्र में इस चर्चा ने फिर से जोर पकड़ लिया है कि क्या राज्य में फिर से कोई तोड़-फोड़ होने वाली है? विपक्षी दलों ने दावा किया है कि भाजपा को शिंदे गुट वाली शिवसेना की जरूरत नहीं है। अब बीजेपी किसी भी तरह से शिंदे की मनमानी नहीं बर्दाश्त करेगी और जरूरत पड़ने पर उनकी पार्टी में तोड़-फोड़ भी कर सकती है।

यह भी पढ़ें-

उद्धव-राज एक साथ, फडणवीस पर दबाव! महाराष्ट्र की सियासत में मचेगा भूचाल