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पार्टियों के इस साल के चंदे का आधा हिसाब आ गया है, सही पकड़े हैं- BJP नंबर 1 पर है

राजनीतिक दलों के बेनामी चंदे पर छिड़ी बहस के बीच देश की 7 राष्ट्रीय पार्टियों को 20 हजार रुपए से ज्यादा वाले चंदे का इस साल का हिसाब सामने आया है. नतीजे प्रत्याशित हैं. केंद्र में सत्तारूढ़ बीजेपी को तमाम राष्ट्रीय दलों को मिले 102 करोड़ में से अकेले 77 करोड़ रुपए मिला है.

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  • Last Updated: December 21, 2016 09:31:37 IST
नई दिल्ली : राजनीतिक दलों के बेनामी चंदे पर छिड़ी बहस के बीच देश की 7 राष्ट्रीय पार्टियों को 20 हजार रुपए से ज्यादा वाले चंदे का इस साल का हिसाब सामने आया है. नतीजे प्रत्याशित हैं. केंद्र में सत्तारूढ़ बीजेपी को तमाम राष्ट्रीय दलों को मिले 102 करोड़ में से अकेले 77 करोड़ रुपए मिला है.
 
 
देश के कानून के मुताबिक राजनीतिक दलों को 20 हजार रुपए से कम चंदा देने वालों का नाम ना बताने की छूट मिली हुई है लेकिन अगर चंदा 20 हजार रुपए से ऊपर का है तो पार्टी को चुनाव आयोग को उनकी लिस्ट तमाम जानकारी के साथ देनी होती है.
 
राजनीतिक दलों और नेताओं की कमाई और रिकॉर्ड पर नजर रखने वाले संगठन एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स ने रिपोर्ट जारी की है जिसके मुताबिक 2015-16 में बीजेपी, कांग्रेस, सीपीएम, सीपीआई, एनसीपी, तृणमूल कांग्रेस और बसपा कुल 7 राष्ट्रीय पार्टियों को 20 हजार से ऊपर वाले चंदा से कुल 102 करोड़ 2 लाख रुपए की कमाई हुई. ये वो चंदा हैं जिन्हें देने वाले का नाम पार्टियों को बताना पड़ता है.
 
 
चुनाव आयोग में दाखिल रिटर्न के मुताबिक बीजेपी को 613 लोगों ने 76 करोड़ 85 लाख रुपए का चंदा दिया. मतलब, इन 613 लोगों या कंपनियों ने बीजेपी को कम से कम 20 हजार का चंदा दिया.
 
बीजेपी के बाद कांग्रेस दूसरे नंबर पर है जिसे 20 करोड़ 42 लाख का वो चंदा मिला जिनका नाम उसे बताना पड़ा. ये अलग बात है कि केंद्र में सत्ता से बाहर हो चुकी कांग्रेस को 20 करोड़ जुटाने के लिए भी 918 लोगों से चंदा लेना पड़ा.
 
 
20 हजार से ऊपर के चंदे से बीजेपी और कांग्रेस के बाद सीपीएम को 1 करोड़ 81 लाख रुपए, सीपीआई को 1 करोड़ 58 लाख रुपए, एनसीपी को 71 लाख रुपए, तृणमूल कांग्रेस को 65 लाख रुपए की कमाई हुई है. बीएसपी को 20 हजार से ऊपर का चंदा देने वाला कोई नहीं मिला.
 
झटके की बात ये है कि जिस बीजेपी को घोषित चंदा मद में करीब 77 करोड़ मिला है उसे पिछले साल इसी मद में 437 करोड़ मिले थे. कांग्रेस को पिछले साल इस मद में 141 करोड़ मिला था जो इस साल 20 करोड़ पर आ गया है. एनसीपी को करीब 39 करोड़ का घोषित चंदा मिला था जो इस बार 71 लाख पर सिमट गया है. बीएसपी को पिछले साल भी इस मद में कोई चंदा नहीं मिला था.
 
 
सीपीएम को पिछले साल 3 करोड़ 41 लाख मिला मिला था जो इस साल 1 करोड़ 81 लाख हो गया है. सीपीआई को पिछले साल 1 करोड़ 33 लाख मिला था और इस साल वो घोषित चंदा 1 करोड़ 58 लाख पर आ गया है. सीपीआई और सीपीएम के घोषित दाताओं की लिस्ट में ज्यादातर चंदा पार्टी की राज्य यूनिटों और उसके बड़े नेताओं से आया है.
 
20 हजार से कम का चंदा जिसे देने वाले का नाम बताने से पार्टियों को छूट है उनके चंदे का इस साल का हिसाब सामने नहीं आया है. पिछले साल बीजेपी को इस मद में 505 करोड़, कांग्रेस को 445 करोड़, बीएसपी को 93 करोड़, एनसीपी को 27 करोड़, सीपीएम को 60 करोड़ और सीपीआई को 3 लाख रुपए मिले थे.
 
पिछले साल के रिटर्न लिस्ट में तृणमूल कांग्रेस राष्ट्रीय पार्टी नहीं थी. बाकी 6 दलों को कुल 1869 करोड़ का चंदा मिला था जिसमें गुमनाम रहने वाला चंदा करीब 1130 करोड़ था. मतलब पार्टियों की कमाई में 100 रुपए में 60 रुपए ऐसे थे जिसे किसने दिया, ये पता नहीं चला.

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