Inkhabar
  • होम
  • देश-प्रदेश
  • अंबेडकर जयंती : पीएम मोदी समेत तमाम दिग्गज नेताओं ने बाबा साहेब को संसद में दी श्रद्धांजलि…

अंबेडकर जयंती : पीएम मोदी समेत तमाम दिग्गज नेताओं ने बाबा साहेब को संसद में दी श्रद्धांजलि…

नई दिल्ली। आज पूरे देश में बाबासाहेब भीमराव अंबेडकर की जयंती मनाई जा रही है. आज यानी 14 अप्रैल को उनका जन्म मध्य प्रदेश के महू में हुआ था. दलितों के मसीहा और संविधान निर्माता माने जाने वाले अंबेडकर को देशभर में श्रद्धांजलि दी जा रही है. केंद्र सरकार ने भी इस दिन को पूरे […]

ambedkar jayanti
inkhbar News
  • Last Updated: April 14, 2022 10:53:24 IST

नई दिल्ली। आज पूरे देश में बाबासाहेब भीमराव अंबेडकर की जयंती मनाई जा रही है. आज यानी 14 अप्रैल को उनका जन्म मध्य प्रदेश के महू में हुआ था. दलितों के मसीहा और संविधान निर्माता माने जाने वाले अंबेडकर को देशभर में श्रद्धांजलि दी जा रही है. केंद्र सरकार ने भी इस दिन को पूरे भारत में अवकाश घोषित किया है. इस बीच प्रधानमंत्री मोदी ने ट्वीट कर अंबेडकर को श्रद्धांजलि दी है. उन्होंने ट्वीट किया कि अंबेडकर ने भारत की प्रगति में अहम योगदान दिया है. यह हमारे देश के लिए उनके सपनों को पूरा करने की हमारी प्रतिबद्धता को दोहराने का दिन है.

वीडियो भी शेयर किया

पीएम ने अपने ट्वीट में एक वीडियो भी शेयर किया. यह वीडियो अंबेडकर द्वारा अपने पूरे जीवनकाल में सीखे गए पाठों को बताता है और लोगों को अपना संदेश देता है. वीडियो में बताया गया है कि अंबेडकर जी का एक ही सपना था कि हमारा देश कैसे समृद्ध बने और देश के बच्चे शिक्षित हों.

इस मौके पर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज संसद में डॉ. भीमराव अंबेडकर को उनकी जयंती पर श्रद्धांजलि दी. इस दौरान कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता मल्लिकार्जुन खड़गे लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला समेत अन्य ने भी श्रद्धांजलि दी.

अंबेडकर जयंती क्यों खास है

आपको बता दें कि आज के दिन को भारत में समानता दिवस और ज्ञान दिवस के रूप में भी जाना जाता है. आज ब्रिटिश कोलंबिया, कनाडा में ‘अंबेडकर समानता दिवस’ मनाया जाता है. अम्बेडकर को भारतीय संविधान का जनक भी कहा जाता है, ऐसा इसलिए है क्योंकि उनकी अध्यक्षता में दुनिया का सबसे लंबा लिखित संविधान तैयार किया गया था. बाबा साहेब ने जाति व्यवस्था का कड़ा विरोध किया था और दलितों के उत्थान के लिए कई कदम भी उठाए थे.इसी वजह से उन्हें दलितों का मसीहा भी कहा जाता है.