कोलकाता: साल 2021 की सबसे बड़ी सियासी जंग पश्चिम बंगाल में देखने को मिल रही है जिसपर पूरे देश की नजर बनी हुई है. एक तरह ममता बनर्जी हैं तो दूसरी तरफ बीजेपी. दोनों ही पार्टियों ने बंगाल चुनाव में पूरा दमखम लगा दिया है. इंडिया न्यूज-जन की बात ने पश्चिम बंगाल की जनता के बीच सबसे बड़ा ओपिनियन पोल कर ये जानने की कोशिश की है कि आखिर बंगाल की जनता परिवर्तन चाहती है या फिर बंगाल में खेला होबे के नारे को चरितार्थ करती है. इंडिया न्यूज-जन की बात के सर्वे के मुताबिक बंगाल में बीजेपी और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का जादू चलता हुआ नजर आ रहा है. सर्वे के मुताबिक बंगाल में बीजेपी को 44.80 फीसदी वोट मिलने का अनुमान है जबकि तृणमूल कांग्रेस को 44.10 फीसदी वोट मिल सकते हैं. इनके अलावा संयुक्त मोर्चे को 10.50 फीसदी वोट मिलने का अनुमान है. आपको बता दें कि इंडिया न्यूज-जन की बात की टीम ने 1 से 20 मार्च तक ग्राउंड सर्वे किया जिसमें ये नतीजे सामने आए.
पश्चिम बंगाल में विधानसभा की 294 सीटों (295 सीटों में से) के लिए 2016 में एक विधान सभा चुनाव हुआ था. ममता बनर्जी के नेतृत्व में अखिल भारतीय तृणमूल कांग्रेस ने 211 सीटें जीतीं, थी। 2011 के चुनाव की तरह, छह चरणों में मतदान हुआ, जिसमें पहला चरण दो दिनों में विभाजित हुआ. पहला चरण नक्सली-माओवादी प्रभावित लाल गलियारे क्षेत्रों में दो मतदान तिथियों के साथ आयोजित किया गया था: 4 अप्रैल और 11 अप्रैल। अन्य चरण 17, 21, 25, 30 अप्रैल और 5 मई को आयोजित किए गए थे। चुनाव का परिणाम 19 मई को घोषित किया गया था.
बंगाल में इस बार के चुनावी मुद्दे:-
भ्रष्टाचार 45%
हिंसा 5%
तुष्टीकरण 23%
एंटी इनकंबेंसी 20%
बेरोजगारी – 7%
2011 में पिछले चुनाव में, कांग्रेस के साथ गठबंधन में अखिल भारतीय तृणमूल कांग्रेस ने बहुमत हासिल किया और वाम मोर्चा सरकार के 34 साल के शासन को समाप्त कर दिया.
पहले चरण में पश्चिम बंगाल की 294 में से 30 सीटों पर 27 मार्च को वोट डाले जाएंगे. वहीं, दूसरे चरण में 30 सीटों पर एक अप्रैल को, तीसरे चरण में 31 सीटों पर 6 अप्रैल को, चौथे चरण में 44 सीटों पर 10 अप्रैल को, पांचवे चरण में 45 सीटों पर 17 अप्रैल को, छठे चरण में 43 सीटों पर 22 अप्रैल को, सातवें चरण में 36 सीटों पर 26 अप्रैल को और आठवें चरण में 35 सीटों पर 29 अप्रैल को वोट डाले जाएंगे. नतीजों की घोषणा 2 मई को होगी.