BRICS Foreign And NSA Meet Brazil: जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल 2025 को हुए आतंकी हमले ने भारत-पाकिस्तान तनाव को चरम पर पहुंचा दिया. इस हमले में 26 लोगों मुख्य रूप से पर्यटकों की मौत ने देश में आक्रोश की लहर पैदा कर दी. इसके जवाब में भारत ने कूटनीतिक और सैन्य स्तर पर कड़े कदम उठाए. इसी बीच विदेश मंत्री एस. जयशंकर और राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (NSA) अजीत डोभाल ने ब्राजील में 30 अप्रैल 2025 को होने वाली BRICS विदेश मंत्रियों और NSA की बैठक में हिस्सा न लेने का फैसला किया है. उनकी अनुपस्थिति में भारतीय BRICS शेरपा इस महत्वपूर्ण मंच पर भारत का प्रतिनिधित्व करेंगे.
पहलगाम की बैसरन घाटी में हुए इस आतंकी हमले की जिम्मेदारी पाकिस्तान समर्थित आतंकी संगठन द रेजिस्टेंस फ्रंट (TRF) ने ली है. हमलावरों ने पर्यटकों को निशाना बनाया. जिससे यह 2019 के बाद कश्मीर में सबसे घातक हमला बन गया. भारतीय विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने कहा ‘आतंकी हमले के सीमा पार संबंध सामने आए हैं.’ हमले के बाद सुरक्षाबलों ने कश्मीर में आतंकियों के खिलाफ बड़े पैमाने पर अभियान शुरू किया. भारत ने सुरक्षा चिंताओं को प्राथमिकता देते हुए यह निर्णय लिया कि जयशंकर और डोभाल घरेलू सुरक्षा की निगरानी करेंगे.
ब्राजील में होने वाली BRICS बैठक में 11 सदस्य देशों के प्रतिनिधि हिस्सा लेंगे. इसका मुख्य उद्देश्य जुलाई 2025 में रियो डी जनेरियो में होने वाले BRICS शिखर सम्मेलन के लिए एजेंडा तैयार करना है. बैठक में निम्नलिखित मुद्दों पर चर्चा होगी-
जयशंकर और डोभाल का यह फैसला पहलगाम हमले के बाद बढ़ी सुरक्षा चुनौतियों का परिणाम है. दोनों नेता LoC पर बढ़ते तनाव और आतंकी गतिविधियों की निगरानी में व्यस्त हैं. भारत ने स्पष्ट किया है. ‘सुरक्षा के नजरिए से ये फैसले लिए गए हैं.’ भारतीय BRICS शेरपा की भागीदारी यह सुनिश्चित करेगी कि भारत की आवाज वैश्विक मंच पर गूंजे.
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