पटना: तमिलनाडु में बिहारी मजदूरों पर लगातार हमले हो रहे हैं। हमले का भय इतना है कि मजदूर कारखाने में काम करने तक नहीं जा रहे हैं। साथ ही वो अपने राज्य बिहार लौटना चाहते हैं। बताते चले कि इस हमले में जमुई के 2 लोगों की हत्या हो चुकी है। दूसरी ओर तमिलनाडु से जमुई के लिए युवक ट्रेनों में छुपकर आ रहे है। पवन यादव व सिकंदरा के मोनू दास की हत्या के बाद अबतक कई युवक अपने गांव वापस लौट चुके है। पवन और सिकंदरा के हत्या के बारे में गांव से लौटे धधोर के युवक मनाेरंजन साव ने विस्तार से बताया है।
मनाेरंजन साव ने बताया कि कैसे पूरे तमिलनाडु में बिहारी मजदूरों को टारगेट किया जा रहा है। पवन की हत्या के बाद रात के अंधेरे में वे लोग ट्रेन में सवार होकर घर लौटे है मनोरंजन ने जानकारी दी कि शुक्रवार को सुनील पासवान,विकास पासवान,अर्जुन पासवान,भीम पासवान,प्रवेश पासवान अपने घर पहुंच गए। वही सिकंदरा प्रखंड के अरमान अपने 20 साथियों के साथ एर्नाकुलम ट्रेन पर सवार है। पोहे गांव में उनके परिजन काफी परेशान है। वहीं मृतक के भाई नीरज कुमार ने बताया कि जब उसने अपने भाई के शव को तमिलनाडु से जमुई लाना चाहा तो पुलिस ने कहा कि शव को यहीं जला दो वहां जाकर केस मत करना।
कहा जाता है कि तमिलनाडु में हिंदी भाषी बिहारी मजदूर सोशल मीडिया पर घृणा अपराधों के शिकार हुए हैं। हालांकि तमिलनाडु पुलिस ने इन खबरों को खारिज किया है। स्थिति पर चिंता व्यक्त करते हुए, नीतीश कुमार ने गुरुवार को कहा कि उन्हें अख़बारों के लेखों के माध्यम से तमिलनाडु में काम करने वाले बिहार श्रमिकों पर हमलों के बारे में पता चला।
दिल्ली का अगला मेयर, गुजरात चुनाव और फ्री रेवड़ी, मनीष सिसोदिया ने बताए सारे राज!
India News Manch पर बोले मनोज तिवारी ‘रिंकिया के पापा’ पर डांस करना सबका अधिकार