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Grah Dhatu: जानिए क्या है 9 ग्रहों की परिक्रमा का धार्मिक, ज्योतिषीय और वैज्ञानिक महत्व

नई दिल्ली। ज्योतिष और अध्यात्मिक विज्ञान में 9 ग्रहों की परिक्रमा का बहुत महत्व है। इन ग्रहों की परिक्रमा और स्थिति का व्यक्ति के जीवन पर बेहद गहरा प्रभाव पड़ता है। ऐसे में ग्रहों की परिक्रमा और उनकी स्थिति के आधार पर ज्योतिषशास्त्र और आध्यात्मिक विश्लेषण करके व्यक्ति के भविष्य, स्वास्थ्य, धन, प्रेम, विवाह, परिवार, […]

Grah Dhatu
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  • Last Updated: March 28, 2024 21:15:04 IST

नई दिल्ली। ज्योतिष और अध्यात्मिक विज्ञान में 9 ग्रहों की परिक्रमा का बहुत महत्व है। इन ग्रहों की परिक्रमा और स्थिति का व्यक्ति के जीवन पर बेहद गहरा प्रभाव पड़ता है। ऐसे में ग्रहों की परिक्रमा और उनकी स्थिति के आधार पर ज्योतिषशास्त्र और आध्यात्मिक विश्लेषण करके व्यक्ति के भविष्य, स्वास्थ्य, धन, प्रेम, विवाह, परिवार, शिक्षा और करियर के संबंध में भविष्यवाणी की जा सकती है।

ग्रहों की परिक्रमा का धार्मिक और आध्यात्मिक रूप से भी काफी संबंध है। यही नहीं कई धर्मों में ग्रहों की परिक्रमा और स्थिति का महत्व माना गया है और वे उनकी उपासना और पूजन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। यहां तक कि कई व्रत, उत्सव और त्योहार भी ग्रहों की परिक्रमा के आधार ही मनाते हैं। आइए जानते हैं इन 9 ग्रहों की परिक्रमा के महत्व के बारे में।

जानें 9 ग्रहों की परिक्रमा का महत्व

धार्मिक महत्व

भारतीय संस्कृति के अनुसार, 9 ग्रहों की परिक्रमा का विशेष महत्व माना गया है। ये धार्मिक अनुष्ठानों का महत्वपूर्ण हिस्सा माना गया है। मान्यता के अनुसार, ग्रहों की परिक्रमा करने से ग्रहों के नकारात्मक प्रभावों से बचा जा सकता है। इससे ग्रहों की शुभ शक्तियों का आशीर्वाद प्राप्त होता है और मनोकामनाएं पूरी होती हैं।

ज्योतिषीय महत्व

ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, ग्रहों की परिक्रमा का उपयोग ग्रहों की चाल और स्थिति को समझने के करते हैं। ये ग्रहों के नकारात्मक प्रभावों को कम करने के लिए किया जाता है। ग्रहों की परिक्रमा का उपयोग ग्रहों की शुभ शक्तियों का लाभ उठाने के लिए होता है।

वैज्ञानिक महत्व

अगर बात करें वैज्ञानिक दृष्टिकोण की तो ग्रहों की परिक्रमा का उपयोग सौरमंडल और ब्रह्मांड के बारे में जानकारी प्राप्त करने के लिए होता है। विज्ञान में ग्रहों की गति और स्थिति का अध्ययन किया जाता है। इसके अलावा, ग्रहों के बारे में नई जानकारी प्राप्त करने के लिए भी उनकी परिक्रमा की जाती है।

बता दें कि आपको अपनी जन्मकुंडली और ज्योतिषीय स्थिति के मुताबिक ही ग्रहों की परिक्रमा करनी चाहिए। लेकिन ऐसा करने से पहले अपने ज्योतिषी से सलाह अवश्य ले लें। धार्मिक और ज्योतिषीय नियमों का पालन करना चाहिए और मन में भक्ति और एकाग्रता रखें। ग्रहों की परिक्रमा करना केवल एक औपचारिकता नहीं है, अपितु यह धार्मिक, ज्योतिषीय और वैज्ञानिक महत्व वाला महत्वपूर्ण अनुष्ठान होता है। ग्रहों की परिक्रमा से धार्मिक, ज्योतिषीय और वैज्ञानिक लाभ की प्राप्ति होती है।

(Disclaimer: यहां दी गई सूचना सिर्फ मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है। जिसका किसी भी तरह की मान्यता, जानकारी की पुष्टि नहीं की गई है। यहां दी गई किसी भी जानकारी या मान्यता पर अमल करने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह लें।)