नई दिल्ली: देशभर में 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस की तैयारियां जोरों पर हैं। इस खास मौके पर राजधानी दिल्ली के कर्तव्य पथ पर भव्य परेड का आयोजन किया जाएगा। वहीं इस बार परेड में भारत की स्वदेशी ताकत का प्रदर्शन करते हुए दो अत्याधुनिक मिसाइलें प्रलय और नाग दिखाई जाएंगी। खास बात यह है कि टेक्टिकल बैलेस्टिक मिसाइल प्रलय पहली बार गणतंत्र दिवस परेड का हिस्सा बनेगी।
डीआरडीओ द्वारा विकसित प्रलय मिसाइल शॉर्ट रेंज बैलेस्टिक मिसाइल है, जिसे सरफेस से सरफेस पर मार करने के लिए डिजाइन किया गया है। साथ ही इसकी मारक क्षमता 150 से 500 किलोमीटर तक है। प्रलय की पेलोड क्षमता 500 से 1000 किलोग्राम है, जिससे यह पारंपरिक और परमाणु हथियार ले जाने में सक्षम है। मिसाइल की खासियत यह है कि लॉन्च के बाद इसकी दिशा को हवा में बदला जा सकता है, जिसके चलते यह दुश्मन के एयर डिफेंस सिस्टम को चकमा देने में सक्षम है।
प्रलय मिसाइल का वजन करीब 5 टन है और इसकी रफ्तार 1 से 1.6 मैक तक है। बता दें इसका पहला परीक्षण दिसंबर 2021 में किया गया था, जब भारत और चीन के बीच पूर्वी लद्दाख में तनाव चरम पर था। इसके बाद 2023 में इसका तीसरा परीक्षण भी सफल रहा। रक्षा मंत्रालय ने प्रलय मिसाइल की खरीद को मंजूरी दे दी है और अब यह भारतीय सेना का हिस्सा बनने के लिए तैयार है।
इसके साथ ही कर्तव्य पथ पर इस गणतंत्र दिवस एंटी टैंक गाइडेड मिसाइल नाग भी आकर्षण का केंद्र बनेगी। डीआरडीओ द्वारा विकसित नाग मिसाइल का उपयोग भारतीय सेना में जल्द ही शुरू होने वाला है। यह मिसाइल दुश्मन के टैंकों को निशाना बनाने में सक्षम है। वहीं गणतंत्र दिवस परेड में इन स्वदेशी मिसाइलों की झलक भारत की रक्षा क्षमता का प्रदर्शन करेगी।
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