नई दिल्ली। पड़ोसी देश श्रीलंका में जारी राजनीतिक-आर्थिक संकट के बीच नए प्रधानमंत्री रानिल विक्रमसिंघे ने कार्यभार संभाल लिया. प्रधानमंत्री पद की शपथ लेने के बाद विक्रमसिंघे ने कहा कि वो अपने कार्यकाल के दौरान भारत के साथ नजदीकी संबंध बनाने को लेकर आशान्वित हैं. संकट के बीच श्रीलंका को आर्थिक सहायता देने के लिए उन्होंने भारत सरकार का आभार व्यक्त किया।
इससे पहले श्रीलंका में नए प्रधानमंत्री के शपथ लोकतांत्रिक प्रक्रियाओं के मुताबिक गठित नयी श्रीलंका सरकार के गठन को लेकर गुरुवार वह भारत ने कहा था कि वो प्रधानंमत्री विक्रमसंघे के साथ काम करने को लेकर आशान्वित है और नई दिल्ली की द्वीप राष्ट्र के लोगों के लिए प्रतिबद्धता बरकरार रहेगी।
बता दें कि महिंदा राजपक्षे के प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा देने के बाद गुरूवार को यूनाटेड नेशनल पार्टी के वरिष्ठ नेता रानिल विक्रमसिंघे ने श्रीलंका के 26वें प्रधानमंत्री के रूप में शपथ ली. विक्रमसंघे इससे पहले भी पांच बार श्रीलंका के प्रधानमंत्री का पद संभाल चुके है।
गौरतलब है कि श्रीलंका साल 1948 में ब्रिटेन से आजादी मिलने के बाद अब तक के सबसे गंभीर आर्थिक संकट के दौर से गुजर रहा है. देश में यह संकट मुख्य रूप से विदेशी मुद्रा की कमी के कारण पैदा हुआ. 9 अप्रैल से पूरे श्रीलंका में हजारों प्रदर्शनकारी सड़कों पर हैं क्योंकि सरकार के पास आयात के लिए धनराशि खत्म हो गई है. आवश्यक वस्तुओं की कीमतें आसमान छू रही है. इससे पहले राष्ट्रपति गोटाबाया राजपक्षे ने सोमवार को जनता से संयम बरतने की अपील की थी।
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