नई दिल्ली। मुंबई में हुए 26/11 हमले के आतंकवादी को अमेरिका से लाने का रास्ता साफ हो गया है। इस हमले में दक्षिण मुंबई के कई स्थानों पर बहुत नुकसान पहुंचा था। आज भी यह हादसा जब याद आता है तो लोगों की रुह कांप जाती है। इस हादसे में दस आतंकी भारत आए थे। जिन्होंने मुंबई में बहुत उग्रवाद फैलाया। तहव्वुर राणा इस आतंकी हमले का मास्टरमाइंड था। फिलहाल राणा अमेरिका के लॉस एंजिल्स जेल में बंद है। तहव्वुर राण की सभी दलीलों के अमेरिकी कोर्ट ने खारिज कर दिया है।
तहव्वुर को अब भारत को सौंप दिया जाएगा। राणा ने भारत से बचने के लिए अमेरिकी कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था। तहव्वुर राणा ने भारत प्रत्यर्पण से बचने के लिए अमेरिकी कोर्ट में याचिका दायर कर कहा था कि प्रत्यर्पण पर इमरजेंसी स्टे लगा दिया जाए। राणा ने कहा की अगर उन्हें भारत को सौंप दिया गया तो वहां उनको बहुत प्रताड़ित किया जाएगा जिसके कारण वह ज्यादा दिनों तक जिंदा नहीं बच पाएंगे।
अरोपी तहव्वुर राणा ने अपनी याचिका में कहा था कि पाकिस्तानी मूल के मुस्लिम होने की वजह से उसे भारत में अधिक प्रताड़ित किया जाएगा। ह्यूमन राइट्स वॉच 2023 की वर्ल्ड रिपोर्ट में देखा गया कि भारत की बीजेपी सरकार धार्मिक अल्पसंख्यकों विशेण रुप से मुस्लिमों के साथ भेदभाव करती है। भारत की सरकार दिन ब दिन मनमानी होती जा रही है। इसलिए अगर मुझे भारत को सौंपा गया तो वहाँ मैं प्रताड़ना का शिकार हो जाऊंगा।
एलन मस्क का स्टारशिप रॉकेट क्रैश, आसमान से गिरे शोले और दफन हो गये सपने
जयशंकर पर हुआ हमला तो अपने ही देश से लड़ बैठे ब्रिटिश सांसद, खालिस्तानी गुंडों की अब टूटेगी कमर